Comments

जय श्रीहरि:

Pacl_sebi_news_update_pacl_refund_pearls

सुप्रीम कोर्ट ने पंजाब सरकार को पर्ल सिटी pearls city के सेक्टर 100,और सेक्टर 104 को मोहाली में विकसित करने के लिए एक नोटिस जारी किया ह...
ब्रम्ह में स्थित महापुरुष व उनमे जो सद्गुरु है,उनका मन-कर्म-वचन से पूजन ही अभेद्य कवच है,इसके समान विजय का दूसरा कोई उपाय ही नही है " ...
जिस प्रकार सूर्य अनंत है,पृथ्वी अनंत है,उसी प्रकार समय भी अनन्त है,इस अनन्त समय को महीनो और वर्षों में गिनना उसी तरह हास्यपद है,जैसे समुद्र...

मुहम्मद साहब" के समय में अरब निवासी कई-कई स्त्रियाँ रखते थे ?

मुहम्मद साहब" के समय में अरब निवासी कई-कई स्त्रियाँ रखते थे, मुहम्मद साहब ने इसका विरोध किया और कहा और व्यवस्था दी,कि एक व्यक्ति चा...
श्रीराम जी को चौदह वर्ष (14 वर्ष) का ही वनवास क्यों माँगा कैकेयी ने जानिए पूरा सच ? तुलसीकृत रामचरितमानस के अयोध्या काण्ड  में है - सुनहु  ...

अन्तोदय राशन कार्ड कैसे बनाये घर बैठे बिलकुल फ्री में देखिए पूरा प्रोसेस...

" शोक उसी का कीजिये , जो अनहोनी होय ! अनहोनी होती नहीं,होनी है सो होय !! जैसे इन सब बातो को सब जानते है,कि सूर्य का उदय हुआ है,तो ...
" यो निन्दति महादेवम् निन्धमानम् शृणोति च , तावुभौ नरकं यातो यावच्चन्द्रदिवाकरौ " अर्थात जो महादेव जी की निंदा करता है,तथा जो...

जीवन जीने की कला

जीवन जीने की कला- भौतिक स्तरपर आप अपनी तुलना हमेशा ऐसे व्यक्ति से करे,जो आप से कम भाग्यशाली है,इससे आपको भौतिक संतोष प्राप्त होगा ! एक बा...

मै कौन हूँ

वास्तविक आत्मा है,चैतन्य सदा विद्यमान रहता है,समय अवधि समाप्त होने पर केवल देह कुछ समय के लिए विलीन हो सकती है,मुख्य प्रश्न है,"मै कौन...

महाभारत-के सर्वश्रेष्ठ योद्धा भीष्म पितामह

भीष्म पितामह जी के त्याग का बहुत बड़ा प्रभाव था, वे कनक-कामिनी के त्यागी थे,(राजसुख-पत्नी सुख) के त्यागी थे, अर्थात्, उन्होंने राज्य को भी स...
अभी हमारे पास जिन वस्तुओं का अभाव है,उन वस्तुओं के बिना भी हमारा काम चल रहा है,हम अच्छी तरह से है, परन्तु जब वे वस्तुएँ हमें मिलने के बाद फ...
कोयल का रंग काला होता है,पर उसकी सुन्दरता तो उसकी आवाज में होती है,जो सबके मन को मोह लेती है,इसी प्रकार एक स्त्री की सुन्दरता तो उसकी शक्ल ...
महर्षि पतंजलि के अनुसार - बुद्धि के दो रूप है,एक तो "बाहरी बुद्धि" जो श्रवण और अनुमान से होती है,इसकी अपेक्षा ऋतंभरा बुद्धि श्रेष...
इस जगत की उत्पत्ति स्थिति और प्रलय जिससे होती है, अर्थात् जो जगत उत्पति स्थिति और प्रलय का निमित्त कारण है,वह ब्रम्ह है,जैसा की श्रुति कहती...